गेहूं के रेट में आई तूफानी तेज़ी, जानें किसानों को कितना होगा फायदा

रूस और यूक्रेन के बीच चल रहे युद्ध का असर पुरे विश्व के साथ साथ भारत पर भी देखने को मिल रहा है। गेहूं के भाव भी इस युद्ध के कारण काफी ज्यादा बढ़ रहे हैं जिससे किसानों को काफी फायदा होने वाला है। आपको बता दें कि गेहूं के भाव में पुरे देश में तेज़ी दिखाई दे रही है। इसका सबसे बड़ा ये है कि कारण अंतर्राष्ट्रीय बाजार में गेहूं का भाव करीब 50 प्रतिशत तक बढ़ चुका है।

देश की ज्यादातर मंडियों में फ़िलहाल काफी कम मात्रा में गेहूं की नई फसल की आवक हो रही है, लेकिन फिर भी भाव में काफी तेज़ी दिखाई दे रही है। अभी तक सरकारी खरीद एजेंसियों द्वारा मंडियों में उतरने का कार्यक्रम घोषित नहीं किया गया है। लेकिन अनुमान है कि एक अप्रैल से मंडियों में सरकारी खरीद शुरू हो जाएगी।

आपको बता दें कि इस साल फरवरी के अंत तक 66 लाख मीट्रिक टन गेहूं का निर्यात हो चुका है, जो मार्च के अंत तक 70 लाख मीट्रिक टन से भी ज्यादा हो सकता है। जब से रूस और यूक्रेन के बीच जंग शुरू हुई है इन दोनों देशों की तरफ से होने वाली गेहूं निर्यात पर रोक लग चुकी है,

और एशियाई देशों के साथ-साथ और भी कई देश अब गेहूं के लिए भारत की तरफ आशा भरी निगाहों से देख रहे हैं। पिछले कुछ दिन से भाव में जो तेजी दिखाई दी है,अगर रूस- यूक्रेन विवाद इसी तरह चलता है तो यह तेजी और बढ़ सकती है और किसानों का फायदा बढ़ेगा।

ज्यादातर मंडियों में गेहूं के भाव MSP से भी काफी ज्यादा बढ़ चुके हैं। मध्य प्रदेश की बात करें तो यहां गेहूं की फसल 500 रुपए प्रति क्विंटल ज्यादा भाव में बिक रही है। इसी तरह गुजरात में किसानों को गेहूं का भाव 2400 से 2500 रुपए तक भी दिया जा रहा है। अभी ये भाव 3000 से भी ज्यादा बढ़ने की उम्मीद है जिससे किसानों का मुनाफा इस बार काफी बढ़िया होगा।

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